शाजापुर ।    मध्य प्रदेश के शाजापुर जिले में सोमवार की रात आठ बजे के लगभग दो समुदाय के लोगों के बीच धार्मिक रैली निकालने की बात को लेकर पथराव हो गया। इस घटना में छह लोगों के घायल होने की बात बताई जा रही है, जिनमें से एक को गंभीर चोट आई है। उसके बाद हिंदू संगठन के लोग थाने में जमा हो गए और विशेष समुदाय के लोगों के खिलाफ कार्रवाई करने और उनके मकानों पर बुलडोजर चलाने की मांग पर अड़ गए। उक्त घटना के बाद शहर में और अधिक अशांति न फैले तथा कानून व्यवस्था को ध्यान में रखते हुए विवादित क्षेत्र में धारा 144 लागू की गई है। साथ ही देर रात 24 नामजद और 20 अन्य लोगों के खिलाफ मामला दर्ज किया गया है। शाजापुर कोतवाली पुलिस की ओर से दर्ज की गई एफआईआर के अनुसार फरियादी मोहित राठौर (24) पिता बाबूलालजी राठौर निवासी महुपुरा शाजापुर ने अपने साथियों किशन गोस्वामी, अजय देवतवाल, नरेंद्र राठौर, शरद शर्मा, लल्लू तिवारी, शुभम यादव और राज सोनी के साथ थाने में हाजिर होकर रिपोर्ट दर्ज कराई। शिकायतकर्ताओं में भाजपा नेता और शाजापुर से एमएलए अरुण भीमावद भी मौजूद रहे।

रिपोर्ट के अनुसार, 22 जनवरी को राम मंदिर अयोध्या में भगवान राम की प्राण प्रतिष्ठा का आयोजन होना है, जिसके लिए प्रतिदिन हिंदू समाज के द्वारा सायंकालीन फेहरी निकाली जा रही है। उसी सिलसिले में आठ जनवरी को मेरे और मेरे साथियों, किशन गोस्वामी, अजय देवतवाल, राज सोनी, नरेंद्र राठौर, शरद शर्मा, लल्लू तिवारी, शुभम यादव और अन्य 30-40 हिंदू समाज के साथियों के द्वारा सायंकालीन फेहरी निकाली जा रही थी। रिपोर्ट में कहा गया कि जैसे ही हम लोग रात्रि 08.30 बजे के लगभग सायंकालीन फेहरी लेकर अखंड आश्रम के सामने हैप्पी मेमोरियल स्कूल वाली गली, मोती मस्जिद के पास नाग नागिन रोड पहुंचे, तभी वहां पर हमें सात-आठ लोगों ने रोक लिया। फिर हमसे कहा कि यहां हिंदुओं का मोहल्ला ही नहीं है, यहां फेहरी मत निकालो। हमने कहां कि हम पूरे शहर में निकाल रहे है, यहां हिंदू समाज के लोग भी रहते हैं। वैसे भी यह पूरे देश के लिए गौरव का विषय है। लेकिन वे नहीं माने और कहा कि यहां से फेहरी मत निकालो। तभी उनमें से जलील पटेल पिता हकीम पटेल और शहजाद खान निवासी मगरिया मैकेनिक निकल कर आया और हमें रोक लिया। फिर मुझसे झूमा-झटकी की और मुझे एक मकान में ले जाने की कोशिश की।

शिकायत में आगे कहा गया है कि तभी वहां मुस्लिम समाज की भीड़ जमा हो गई। इस दौरान भीड में से अतीक कालिया, जहीर उर्फ लगंडा पिता जमील खान, अतीक का छोटा भाई, अमन कुरैशी, सरफराज उर्फ लपेटु, ईशाक खरखरे, राजा खान, सादान खान, रूवाब खान, अजहर खान, आफताब, वकील खान, सद्दाम खान, मंजूर खान, जहीर उर्फ बबलू, ईरशाद पिता औसाफ खान (शिक्षक), सोहेल खान, सद्दाम पिता शब्बीर खान, सहू खान, जलील पटेल पिता हकीम पटेल, हलील पटेल पिता हकीम पटेल, खलील पठान पिता हफीज पठान, सलमान पिता सलीम खान, मोहम्मद जावेद पिता अब्दुल गफ्फार, मंजूर पिता रफीक खान और 15-20 अन्य सर्व निवासीगण मगरिया व आसपास के क्षेत्र के लोगों ने हमें गालियां दी। हमने उनसे कहां कि आप लोग गालियां क्यों दे रहे हो, तभी उस भीड़ ने हम लोगों पर पथराव शुरु कर दिया व महिलाएं भी घर की छतों से पथराव करने लगीं। वादी ने आरोप लगाया कि इसी दौरान कुछ लोग तलवार निकालकर हमें मारने दौड़े और भीड़ में से मंजूर खां पिता रफीक पेंटर निवासी मगरिया ने तलवार से हमला किया। उसमें ललित कुशवाह निवासी काछीवाड़ा के सिर में चोट लगी और खून निकलने लगा। पथराव में कुणाल देवतवाल निवासी किला रोड, ढोली सोनू मालवीय निवासी लालपुरा, प्रशांत कुशवाह निवासी कुम्हारवाड़ा, चेतन प्रजापति और निखिल प्रजापति को चोट लगने से खून बहने लगा तो हम लोग वहां से जान बचाकर भाग निकले। उक्त शिकायत को आधार बनाकर पुलिस ने दो दर्जन नामजद और 20 अन्य आरोपियों के खिलाफ धारा,147, 148, 149, 323, 294, 506, 336, 298, 295A और 153A आईपीसी के तहत प्रकरण दर्ज किया है।