भोपाल-घर को स्वर्ग कैसे बनाएं विषय पर सुख शांति भवन नीलबड़ के अनुभूति सभागार में आयोजित कार्यक्रम अहमदाबाद से पधारी बीके शारदा दीदी।
स्वयं के दैवी संस्कारों को जागृत करने से बन जाएगा हर घर स्वर्ग। मुझे घर को स्वर्ग बनाना है तो मेरी आदतें,मेरे संस्कार मुझे बदलने होंगे। आज स्वयं के सत्य स्वरूप को हम भूल चुके हैं। जब तक अहंकार का आवरण नहीं उतरा है, वह सत्य स्वरूप मेरे सामने नहीं आ सकता। अगर घर को स्वर्ग बनाना है तो तीन बातें धारण करो- किसी से भी मिलो तो मुस्कुरा कर मिलो। आज का इंसान मुस्कुराना ही भूल गया है। गुंबज में जो आवाज आप करेंगे वही लौटकर आपके पास आएगी। दूसरी बात सदा मीठे बोल बोलिए। मीठे बोल का एवर रेडी शरबत हमें तैयार रखना है। कैसी भी परिस्थिति हो लेकिन दो मीठे बोल बोलने से बहुत सी समस्याओं का समाधान हो जाता है। तीसरी बात सब को सम्मान दो। हार मान लीजिए तो हार्मनी हो जाएगी। समस्या का समाधान झुकने में है, अकड़ने में नहीं। यह बात कह रही थी अहमदाबाद से पधारी बीके शारदा दीदी। "घर घर को स्वर्ग कैसे बनाएं"विषय पर ब्रह्मा कुमारीज सुख शांति भवन नीलबड़ के अनुभूति सभागार में आयोजित कार्यक्रम में उपस्थित जनमानस को आप संबोधित कर रही थी। आपने आगे बताया, संस्कारों के परिवर्तन के लिए जो शक्ति चाहिए वह राजयोग ध्यान से मिलती है। राजयोग ध्यान के लिए बहुत ज्यादा समय नहीं 1 घंटे में केवल 1 मिनट निकालें। 1 मिनट के लिए अपने अंदर चले जाइए और अपने को विचार दीजिए मैं शुद्ध, शांत, शक्तिशाली पवित्र आत्मा हूं। उस 1 मिनट का असर पूरे घंटे पर पड़ेगा आपका मन संतुलित, एकाग्र और शांत रहेगा। आंतरिक शक्तियां जागृत होने लगेंगी। स्वयं के परिवर्तन से परिवार, परिवार से समाज, समाज से राष्ट्र और राष्ट्र से विश्व में परिवर्तन आएगा और घर घर स्वर्ग बन जाएगा। इस कार्यक्रम का उद्घाटन श्री पी सी शर्मा जी (विधायक, पश्चिम -दक्षिण क्षेत्र भोपाल), श्री आलोक संजर जी (पूर्व सांसद, भोपाल), श्री जी पी माली जी (अध्यक्ष, मध्य प्रदेश डिप्टी कलेक्टर एसोसिएशन), भिकुनी संघमित्रा जी, फादर मारिया स्टीफन, माउंट आबू से पधारी बीके कविता दीदी आदि के द्वारा दीप प्रज्वलित करके हुआ। सभी अतिथियों का शब्द सुमनों द्वारा स्वागत ब्रह्मा कुमारीज, सुख शांति भवन, नीलबड़ की डायरेक्टर बीके नीता दीदी ने किया। आभार प्रदर्शन श्री सुरेश गुप्ता जी (प्राइवेट सेक्रेट्री, सचिवालय) ने किया। कार्यक्रम के अंत में बीके साक्षी बहन ने सबको राजयोग मेडिटेशन के द्वारा शांति की अनुभूति कराई। सुचारू रूप से सूत्रसंचालन डॉ दिलीप नलगे ने किया।