भारतीय राष्ट्रीय राजमार्ग प्राधिकरण यानी एनएचएआइ का अति महत्वाकांक्षी प्रोजेक्ट कानपुर रिंग रोड 93.2 किलोमीटर लंबी होगी, जो तीन तीन जिलों से होकर गुजरेगी। रिंग रोड में गंगा पुल, पांडु नदी पुल व नहर पुल, रेलवे उपरगामी पुल और हाईवे से ऊपर से गुजरने वाला सड़क का हिस्सा एलीवेटेड होगा।

रिंग रोड का यह 11 किमी का हिस्सा आठ लेन का होगा। वहीं, 82.2 किमी का हिस्सा छह लेन का होगा, जिसे भविष्य में आठ लेन तक करने का विकल्प भी रहेगा। एनएचएआइ के अति महत्वाकांक्षी परियोजना में 93.2 किमी लंबी कानपुर रिंग रोड है, जिसके निर्माण में 10 हजार करोड़ रुपये खर्च होंगे।

चार चरणों में हो रहा काम

इसका निर्माण बेहतर ढंग से कराने के लिए चार चरणों में बांटा गया है, जिसमें मंधना से सचेंडी चौथे चरण और सचेंडी से रमईपुर पहले चरण का ठेकेदार तय हो गया है। राज कंस्ट्रक्शन लिमिटेड को निर्माण की जिम्मेदारी सौंपी गई है।

उन्होंने भूमि समतलीकरण का कार्य भी शुरू कर दिया है। दूसरे चरण में रमईपुर से उन्नाव के आटा तक 19.25 किमी हिस्से के निर्माण कार्य की जिम्मेदारी उत्तराखंड के हिलवेज कंस्ट्रक्शन कंपनी लिमिटेड को दी गई है, जो फरवरी तक कार्य शुरू कर देगा। तीसरे चरण आटा से मंधना तक 27.90 किमी हिस्से की टेंडर प्रक्रिया भी अंतिम चरण में है।

रिंग रोड से एयरपोर्ट तक एलीवेटेड रोड

चकेरी एयरपोर्ट टर्मिनल बिल्डिंग को रिंग रोड से जोड़ा जाएगा। इसके लिए 1.40 किमी लंबी एलीवेटेड रोड बनाई जाएगी ताकि शहर और आसपास के जिलों के लोग बिना रुकावट सीधे एयरपोर्ट पहुंच सकें।

मंधना से आटा तक 65.075 किमी सड़क की निविदा पूरी रिंग रोड के मंधना, सचेंडी, रमईपुर होते हुए उन्नाव के आटा तक 65.075 किमी सड़क की निविदा पूरी हो चुकी है। ठेकेदार तय होने के बाद निर्माण कार्य शुरू करने के लिए मशीनरी भी उतरने लगी है। इंजीनियरों व कर्मचारियों के रहने के लिए साइट कैंप भी बना रहे हैं।

रिंग रोड के 93.2 किमी में से 11 किमी हिस्सा एलीवेटेड होगा। ये हिस्सा भविष्य को ध्यान में रखते हुए आठ लेन का बनाया जाएगा। इसमें गंगा नदी पर पुल, फ्लाईओवर और रेलवे पुल होंगे। एयरपोर्ट की भी सड़क है। अंतिम चरण के लिए टेंडर प्रक्रिया चल रही है। नए साल से कार्य धरातल पर दिखने लगेगा।